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यात्राएं व्यक्ति के जीवन का हिस्सा हैं। व्यक्ति को जीवन में छोटी से लेकर बड़ी यात्राएं करनी पड़ती हैं। यह यात्रा दूसरे देश की भी हो सकती है। हस्तरेखा विज्ञान में यात्राओं के लेकर रेखाओं के संयोग से व्यापक वर्णन है। जानिए हाथों में बनी यात्रा रेखा और उनके परिणाम के बारे में।
-यदि चंद्र पर्वत से कोई यात्रा रेखा निकलकर स्पष्ट से हृदय रेखा में मिले तो जातक के यात्रा में प्रेम संबंध विकसित होते हैं। इस स्थिति में विवाह की संभावनाएं भी रहती हैं।
-चंद्र पर्वत से निकली कोई यात्रा रेखा हथेली को पार कर गुरु पर्वत पर पहुंच जाए तो व्यक्ति को जीवन में अनेक दूरस्थ स्थानों की यात्राएं करनी पड़ती है। ऐसे लोग लंबी विदेश यात्रा भी करते हैं।
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-यात्रा रेखा का मस्तिष्क रेखा में मिलना यात्रा के जरिये किसी व्यवसासिक समझौते या फिर बौद्धिक कार्यों के अनुबंध का संकेत देता है।
-बुध पर्वत पर यदि कोई यात्रा रेखा पहुंच रही है तो जातक को यात्रा में ही एकाएक धन की प्राप्ति होती है।
-यदि चंद्र पर्वत से कोई यात्रा रेखा निकली तो है, लेकिन यह हथेली के बीच से ही वापस मुड़कर चंद्र पर्वत पर आ जाए ऐसे लोगों को किसी भी कारण से अपने देश को लौटना पड़ता है। जातक की यह स्वदेश वापसी किसी मजबूरी के कारण होती है।
-यात्रा रेखा पर क्रॉस और इसके पास में कोई चतुष्कोण बना हो तो यह शुभ संकेत नहीं है। इस स्थिति में व्यक्ति का यात्रा का तयशुदा कार्यक्रम स्थगित हो जाता है।
(इस आलेख में दी गई जानकारियों पर हम यह दावा नहीं करते कि ये पूर्णतया सत्य एवं सटीक हैं तथा इन्हें अपनाने से अपेक्षित परिणाम मिलेगा। जिसे मात्र सामान्य जनरुचि को ध्यान में रखकर प्रस्तुत किया गया है।)
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