जानिए महा मृत्युंजय मंत्र का अक्षरशः सही अर्थ

ॐ त्र्यम्बकं यजामहे सुगन्धिं पुष्टिवर्धनम्। उर्वारुकमिव बन्धनात् मृत्योर्मुक्षीय मामृतात्॥ यह…

अमृत वाणी | कालिदास और माँ सरस्वती

"कालिदास और माँ सरस्वती की बहुत ही प्यारी अमृत वाणी " कालिदास बोले :- माते पानी पिला दीजिए बड़ा…

अमृत वाणी | भिखारी ने कैसे पहचाना स्वयं को ?

  एक था भिखारी ! रेल सफ़र में भीख़ माँगने के दौरान एक सूट बूट पहने सेठ जी उसे दिखे। उसने सोचा कि…